भारत के तीन राज्यों- महाराष्ट्र, तेलंगाना और केरल से कोविड-19 के दो नए स्ट्रेन मिले हैं। हालांकि केंद्र सरकार के अनुसार, अभी तक ऐसे सबूत नहीं हैं कि महाराष्ट्र और केरल में केसेज बढ़ने के पीछे यही स्ट्रेन जिम्मेदार हैं। दो इन वैरियंट्स के नाम N440K और E484K हैं। E484K ऐसा म्यूटेशन है जो शरीर के इम्युन रेस्पांस से बच जाता है जबकि N440K तेजी से इंसानी रिसेप्टर्स से जुड़ता है यानी ज्यादा तेजी से फैलता है। देश में कोरोना के मामलों में फिर से उछाल देखने को मिल रहा है। मंगलवार को लगातार नौवां दिन रहा जब केसेज बढ़े। कोविड से मौतों की संख्या भी तीन दिन 100 से कम रहने के बाद, मंगलवार को 100 के पार चली गई। आइए जानते हैं कोरोना से जुड़े प्रमुख अपडेट्स।
डेली एवरेज बढ़ा, सबसे ज्यादा केस महाराष्ट्र से
अभी तक के अपडेट के अनुसार, मंगलवार को कम से कम 13,742 नए केस सामने आए। इनमें तेलंगाना के आंकड़े शामिल नहीं हैं। तेलंगाना ने कहा है कि वह डेली केसेज की संख्या नहीं जारी करेगा। सबसे ज्यादा केस महाराष्ट्र से आए जहां 6,218 नए मामले दर्ज हुए। केरल दूसरे नंबर पर बरकरार रहा जहां से 4,034 नए मामले सामने आए। इन दो राज्यों को मिला दें तो देश के 75% से ज्यादा कोरोना केस यहीं से आए।
मंगलवार को कोरोना ने 100 से ज्यादा की ली जान
महाराष्ट्र के जालना के स्कूल-कॉलेज और बाजार बंद
दिल्ली में बाहर से आए तो दिखानी होगी कोरोना रिपोर्ट
नए स्ट्रेन मिलने पर क्या कह रहे एक्सपर्ट?
इन राज्यों में केंद्र को भेजनी पड़ी है टीम
भारत में कम से कम सात राज्यों में कोविड केसेज बढ़ रहे हैं। डॉ पॉल ने कहा कि महाराष्ट्र, केरल, पंजाब, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ तथा जम्मू और कश्मीर में केसेज बढ़ना एक ‘वॉर्निंग सिग्नल’ है। केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने कहा कि छह राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में एक्सपर्ट टीमें भेजी जा रही हैं जो इस बढ़त के पीछे की वजह का पता लगाएंगी।
कोरोना टीकाकरण अभियान में आई तेजी
वैक्सीन: 60 से ज्यादा उम्र वालों का भी सेल्फ रजिस्ट्रेशन?
भारत में 60 साल से ज्यादा उम्र वालों और को-मॉर्बिडिटीज से जूझ रहे लोगों को वैक्सीन के लिए सेल्फ रजिस्टर करने की अनुमति मिल सकती है। केंद्र सरकार के एक अधिकारी के हवाले से एक हिंदी अख़बार ने यह रिपोर्ट दी है। ये लोग उस जगह का चुनाव भी कर पाएंगे जहां इन्हें टीका लगवाना है। इसके लिए मोबाइल ऐप में बदलाव किए गए हैं। पहले 50 से ज्यादा उम्र वालों को रजिस्टर करने की अनुमति देने की बात थी लेकिन फिर इसे बढ़ाकर 60 साल कर दिया गया क्योंकि उन्हें ज्यादा रिस्क है। वैक्सीनेशन का सर्टिफिकेट Co-WIN और डिजिलॉकर जैसे सरकारी प्लेटफॉर्म्स पर उपलब्ध होगा।